देवास बिना तैयारी के शुरू की सुपर कारीडोर योजना, अधर में लटकी- कांग्रेस, काम अभी भी चल रहा है और बहुत जल्द पूर्ण होगा प्राधिकरण सी.ओ. शर्मा,
देवास विकास प्राधिकरण द्वारा उज्जैन रोड बिराखेड़ी से इंदौर रोड स्थित टाटा चौराहा के आसपास जोड़त हुए मिनी सुपर कॉरिडोर योजना के नाम से सड़क निर्माण की योजना बनाकर काम प्रारंभ किया गया था। योजना के तहत 232 हेक्टेयर जमीन लैंड पूलिंग योजना के तहत किसानों से ली जाना है।अक्टूबर 2022 में काम शुरू हुआ था। इसका उद्देश्य देवास रोड को इंदौर रोड से सीधी जोड़ना। इस योजना के माध्यम से आसपास के क्षेत्र में विकास होगा, आवासीय और व्यावसायिक निर्माण होगा। शहर को बायपास करते हुए सड़क का निर्माण 45 मीटर चौड़ा होगा। वर्तमान में एक से डेढ़ किलोमीटर के बीच ही सड़क का निर्माण हुआ और काम रुक गया जबकि उक्त सड़क 5. 60 किलोमीटर के लगभग बनना है। जब इस संदर्भ में जानकारी एकत्रित की गई तो पता चला कि उक्त कॉरिडोर योजना के लिए आगे के किसानों ने अपनी जमीन देने से ही प्राधिकरण को इनकार कर दिया जबकि प्राधिकरण गाइडलाइन से 2 गुना की राशि मुआवजे के रूप में किसान को दे रही है। योजना के लिए भूमि नहीं मिलने के कारण काम पूरी तरह से बंद हो गया है। लगभग 400 करोड़ रुपए का प्रोजेक्ट आज अधर में लटका हुआ है। विश्वसनीय सूत्रों से पता चला, कि वही इस पर 25-30 करोड़ों रुपए खर्च हो चुके हैं। जब तक किसान प्राधिकरण को जमीन नहीं दे देता वहीं किसान को उसकी भूमि का मुआवजा नहीं मिल जाता तब तक उक्त योजना अधर में ही रहेगी। शहर जिला कांग्रेस अध्यक्ष मनोज राजानी व कार्यकारी अध्यक्ष प्रवक्ता सुधीर शर्मा ने बताया, कि पहले ही देवास विकास प्राधिकरण की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं है, बावजूद कैसे अ दूरदर्शितापूर्ण निर्णय लेकर सुपर कॉरिडोर योजना का काम शुरू किया गया। वही एक बड़ी धनराशि भी उक्त योजना पर खर्च कर दी गई। आज स्थित यह है, कि योजना न इधर की है ना उधर की है। सबसे आश्चर्य की बात तो यह है कि भाजपा सरकार के जनप्रतिनिधियों ने भी इस योजना के क्रियान्वयन के पूर्व प्राधिकरण के अधिकारियों से इसकी जानकारी ही नहीं ली, उन्हें तो यही लगा कि यह शहर को मिल रही एक उपलब्धि उनके नाम पर रहेगी। कांग्रेस नेताओं ने कहा कि हम योजना के विरोध में नहीं है अगर योजना का क्रियान्वयन किया जाना था तो पहले सभी किसानों को विश्वास में लेना था, उनसे पहले भूमि लेना थी, भूमि का मुआवजा देना था जब अगर कॉरिडोर का काम शुरू होता तो आज उसे पूरा हुए 1 वर्ष हो जाता। कांग्रेस की मांग है कि प्राधिकरण के अधिकारी किसानों से बात करें, उन्हें पर्याप्त मुआवजा दे जिससे उक्त योजना को जल्दी पूरा किया जा सके।
इस संबंध में देवास विकास प्राधिकरण मुख्य कार्यपालन अधिकारी अभिषेक शर्मा द्वारा बताया गया कि कुछ किसानों द्वारा आपत्ति लगाई थी। जिसका समय 3 वर्ष रहता है और वह 3 वर्ष समय पूर्ण हो गया है। और शासन द्वारा भू अर्जन कर इसका भी निराकरण कर लिया जाएगा। अभी कार्य चल रहा है और इस प्रक्रिया के बाद जहां पर रुक का रहता हुआ अभी शुरू हो जाएगा।